Featured post

माँ का अधूरा सपना

चित्र
यह कहानी माँ के सपनों और संघर्ष की प्रेरणादायक कहानी है। पढ़िए यह भावनात्मक माँ पर कहानी हिंदी में। जब माँ मुस्कुराती है, तो सारी परेशानियाँ छोटी लगती हैं।  बचपन की खुशबू कितनी अजीब बात है — जब हम बड़े होते हैं तो हमें अपने बचपन की खुशबू याद आने लगती है। आदित्य भी अब वही महसूस कर रहा था। वह दिल्ली की भीड़ में फँसा एक छोटा सा आदमी था, लेकिन उसके मन में एक गाँव बसता था — जहाँ उसकी माँ रहती थी। आदित्य के लिए माँ सिर्फ़ एक रिश्ता नहीं थी, बल्कि उसका पूरा संसार थी। जब वह छोटा था, माँ हर सुबह उसे जगाते हुए कहती — “बेटा, एक दिन तू बड़ा आदमी बनेगा।” उस समय आदित्य को हँसी आती थी। उसे लगता था — माँ बस मनाने के लिए कहती है। पर अब वही बात उसकी आँखों में आँसू बनकर उतर आती थी।  संघर्ष और माँ का त्याग आदित्य का बचपन गरीबी में बीता। माँ ने कभी अपनी भूख की परवाह नहीं की। वह खेतों में मजदूरी करती, फिर घर आकर रोटी बनाती, और बेटे की कॉपी-किताबें दुरुस्त करती। कभी-कभी बिजली नहीं होती, तो वह दीए की रोशनी में बेटे को पढ़ाती। माँ का सपना था कि आदित्य “अफसर” बने। पर हालात इतने कठिन थे कि स्कूल की फीस ...

Doctor sir ANM

Ek mahila ANM course karane ke baad
Doctor sir ANM 


गांव बड़ेली की बेटी

बड़े-बड़े शहरों में बड़े-बड़े डॉक्टर होते हैं...
लेकिन असली नायक वो होती है जो कच्चे रास्तों से होते हुए,
गाँव की मिट्टी में ज़िंदगी बचाने जाती है...
बिना लाइमलाइट के... बिना तामझाम के... ANM!”
 वह सर्द सुबह थी। बड़ेली गांव की धुंध में लिपटी एक साड़ीधारी महिला, अपने झोले में स्टेथेस्कोप और टीके भरकर निकल चुकी थी – क्योंकि आज उसे तीन घरों में गर्भवती महिलाओं की जांच करनी थी।

उसका नाम है सोनाली, लेकिन गांव के बच्चे उसे "डॉक्टर जी ANM" कहकर बुलाते हैं – प्यार से, गर्व से, और भरोसे से।

 दरअसल बात है, उत्तर प्रदेश के एक छोटे से गांव बड़ेली की।
मिट्टी की खुशबू, बैलों की चरचराहट और खेतों के बीच बसी एक प्यारी-सी दुनिया।
वहीं एक लड़की थी – चंचल, होशियार और हमेशा मुस्कुराने वाली – उसका नाम था सोनाली

12वीं की परीक्षा पास कर ली थी उसने, लेकिन घर की हालत ऐसी नहीं थी कि कोई बड़ी पढ़ाई का सपना देखा जाए। पिता किसान थे, मां आंगनवाड़ी में सहायिका। दो छोटे भाई-बहन थे, जिन्हें संभालने में सोनाली मां की दाहिनी हाथ बन चुकी थी।

एक दिन सोनाली अपनी मां के साथ गांव के प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र गई। वहां एक सादी सी साड़ी में, पर चेहरे पर आत्मविश्वास लिए बैठी महिला ने उसे बहुत प्रभावित किया। लोगों ने उन्हें ‘डॉक्टर जी ANM’ कहकर बुलाया।

सोनाली के अंदर कुछ जग गया।

ANM क्या होता है ? – उसने पूछा

उस दिन उसने घर लौटकर इंटरनेट खंगाला, पास के नर्सिंग कॉलेज में जाकर जानकारी ली और जाना कि ANM मतलब Auxiliary Nurse Midwifery

“मैं भी तो ऐसा काम कर सकती हूं… माएं, बहनें, बच्चे, सबकी सेवा कर सकूं – और साथ में नौकरी भी पा जाऊं!”

सोनाली का सपना अब आकार ले रहा था। उसने कॉलेज में दाख़िला लिया।

दो साल – मेहनत, संघर्ष और सीख

ANM का कोर्स दो साल का था – एक साल क्लासरूम में और छह महीने का प्रैक्टिकल।

सोनाली ने सीखा

  • कैसे गर्भवती महिलाओं की देखभाल की जाती है
  • किस तरह नवजात बच्चों को सुरक्षित रखा जाता है
  • टीकाकरण, प्राथमिक उपचार, पोषण, स्वच्छता
  • कैसे एक गांव को स्वस्थ रखने की नींव रखी जाती है

उसे पहली बार लगा – "मैं सिर्फ एक छात्रा नहीं, एक सेविका भी हूं।"

पहली पोस्टिंग, फिर बड़ेली लौटी

दो साल बाद सोनाली को पहली पोस्टिंग मिली – अपने ही गांव बड़ेली में।
जिस डॉक्टर जी को देखकर उसने सपना देखा था, आज उसी की जगह वो खुद बैठी थी –
सादे कपड़े, माथे पर बिंदी और गले में स्टेथेस्कोप।
गांव की औरतें अब उसे कहती थीं – "डॉक्टर जी ANM आ गई हैं!"

लोगों की ज़िंदगी बदल रही थी

सोनाली ने सिर्फ दवाइयां नहीं दीं, उसने लोगों की सोच बदली।

  • बच्चियों के जन्म पर मिठाई बंटवाने का चलन शुरू करवाया
  • गर्भवती महिलाओं को समय पर जांच और दवा दिलवाई
  • नवजात बच्चों के जन्म के बाद तुरंत टीकाकरण शुरू करवाया
  • पोषण अभियान चलाया, गांव की किशोरियों को सेनेटरी पैड्स बांटे
  • मासिक धर्म पर खुलकर बात करने की पहल की

गांव बदल रहा था, और इस बदलाव की एक साधारण सी वजह थी – ANM सोनाली, यानी “डॉक्टर जी ANM”।

सरकारी नौकरी, समाज में सम्मान

आज सोनाली को हर महीने ₹25,000 की सरकारी तनख्वाह मिलती है, पर उससे बड़ा है – उसका सम्मान
वो अब सिर्फ गांव की बेटी नहीं, गांव की सेहत का प्रहरी है।
जहां डॉक्टर नहीं पहुंचते, वहां ANM पहुंचती है – समय पर, सच्चाई से, सेवा भाव से।

सोनाली जैसी हज़ारों कहानियाँ…

सोनाली की कहानी काल्पनिक ज़रूर है, लेकिन ऐसी हज़ारों बेटियाँ भारत में हैं, जो ANM बनकर समाज को बदल रही हैं।

ANM कोर्स उनके लिए है।

  • जो 12वीं पास हैं (किसी भी स्ट्रीम से)
  • जिनकी उम्र 17 से 35 वर्ष के बीच है
  • जो कम खर्च में जल्दी नौकरी पाना चाहती हैं
  • और जिनमें सेवा करने का जुनून है।

लेखक की बात, दिल से

मैं, Nagendra Bharatiy, जब भी ऐसी कहानियां लिखता हूं, तो मेरा दिल भर आता है।
क्योंकि मेरा ब्लॉग www.magicalstorybynb.in सिर्फ जानकारी नहीं देता – वो सपनों की खिड़की खोलता है

मैं चाहता हूं कि भारत की हर लड़की, जो सीमित साधनों में बड़ी सोच रखती है, उसे ANM जैसे कोर्स की पूरी जानकारी मिले – कहानी की भाषा में, अपनापन और भरोसे के साथ।

और हां, आप ही अगली "डॉक्टर जी ANM" हो सकती हैं

अगर आप भी सोनाली जैसी हैं – पढ़ाई में थोड़ी तेज़, दिल में कुछ कर गुजरने का सपना, और पैसों की कमी –
तो ANM कोर्स आपके लिए पहला सीढ़ी है।

आइए, मिलकर समाज को स्वस्थ बनाएं।
क्योंकि ANM सिर्फ एक कोर्स नहीं, ये सेवा है, सम्मान है, शक्ति है।

लेखक: Nagendra Bharatiya

अगर आपको "डॉक्टर जी ANM" की यह सच्ची-सी लगने वाली काल्पनिक कहानी पसंद आई हो,

तो कृपया Like करें, Comment करें और अपने दोस्तों व परिवार के साथ ज़रूर Share करें।

ऐसी और कहानियाँ पढ़ने के लिए मेरे ब्लॉग पर आते रहिए:

📚 www.magicalstorybynb.in और www.kedarkahani.in

और अगर आप इसे वीडियो के रूप में देख रहे हैं तो...

👉Channel को Subscribe करें, 🔔 बेल आइकन दबाएं

ताकि अगली कहानी की घंटी सबसे पहले आपके पास बजे।

पढ़ते रहिए कर्म और भाग्य की लड़ाई एपिसोड:
https://www.kedarkahani.in/2025/05/karm-aur-bhagya-ki-ladai-episode-5.html

YouTube पर देखें: https://youtu.be/cR_9y1z9qjo?si=oOhiitPAIsLlGYAs

कहानियाँ जो दिल से निकलती हैं, उन्हें सुरक्षित रखना हमारी ज़िम्मेदारी है। Stories that come from the heart, protecting them is our responsibility.

टिप्पणियाँ

इस ब्लॉग से लोकप्रिय पोस्ट

जहरीला चलन भाग - 1[ दहेज प्रथा पर आधारित]

तुम संग – एक नई दुनिया | भाग 2|Tum sang - ek nai duniya| bhag 2

तुम संग – एक नई दुनिया Tum Sang - Ek Nai Duniya

Vivo Y20 V2029.|कम कीमत में दमदार स्मार्टफोन का अनुभव

भारत में राष्ट्रपति का पद सबसे ऊंचा क्यों है ?

EPS 95|Employees’ Pension Scheme 1995.

रानी मधुमWhy Does the Male Honeybee Die Immediately After Mating With the Queen? – A Scientific Explanationक्खी से संबंध बनाते ही नर मधुमक्खी क्यों मर जाता है? – एक वैज्ञानिक सच|

तुम मुझे खून दो, मैं तुम्हें आज़ादी दूंगा, (सुभाष चंद्र बोस का योगदान)

UP पंचायत चुनाव 2025, अब गांव बदलेगा, जब हम सही नेता चुनेंगे | UP Panchayat Election 2025, Let’s Change Our Village by Choosing the Right Leader

भारत और थाईलैंड – दो राष्ट्र, एक आत्मा|India and Thailand – Two Nations, One Soul.